हाइकु मञ्जूषा (समसामयिक हाइकु संचयनिका)

卐 ~•~ 卐 ~•~ 卐 ~•~ 卐 ~•~ हाइकु मञ्जूषा (समसामयिक हाइकु संचयनिका) संचालक : प्रदीप कुमार दाश "दीपक" ~•~ 卐 ~•~ 卐 ~•~ 卐 ~•~ 卐

गुरुवार, 13 मई 2021

~•~ हाइकुकार जयंत यादव जी के हाइकु ~•~

हाइकुकार

जयंत यादव

हाइकु 


1)
कर्ज में डूबे 
वादे हुए अधूरे
किसान रोये ।

2)
रोती बेटियां
कर रही गुहार
दहेज पाप ।

3)
आया अकाल
मरने लगे धान
सूखा नहर ।

4)
कलमकार 
करे शब्दों से वार
अब तो जाग ।

5)
पहनें मास्क
मत होना बेहाल
कोरोना काल ।

6)
आया भूकंप
हिल गयी धरती
मची तबाही ।

7)
बढ़ती गर्मी
जीना हुआ कठिन
जंगल लुप्त ।

8)
फैलती आग
जंगल हुए खाक
बारिश आस ।

9)
भीषण धूप
जीना हुआ मुहाल
खोजता छांव ।

10)
रात जो ढली
जाग उठा सूरज
भोर मुस्काई ।
---000---

~ जयंत यादव
कोतासुरा, वि.ख. - पुसौर, 
जिला-रायगढ़ (छत्तीसगढ़)
पिन - 496440

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