हाइकु मञ्जूषा (समसामयिक हाइकु संचयनिका)

卐 ~•~ 卐 ~•~ 卐 ~•~ 卐 ~•~ हाइकु मञ्जूषा (समसामयिक हाइकु संचयनिका) संचालक : प्रदीप कुमार दाश "दीपक" ~•~ 卐 ~•~ 卐 ~•~ 卐 ~•~ 卐

मंगलवार, 13 अगस्त 2019

हाइकु कवयित्री अल्पा जीतेश तन्ना जी के हाइकु


हाइकु कवयित्री 

अल्पा जीतेश तन्ना

हाइकु 


फ़लक तक
ले जाते यह रास्ते
जो मुस्कुराते ।

रंग रोशनी
आकाश से उतरी
जल की परी  ।

वृक्ष के पर्ण
नभ - जल को स्पर्श
करे सहर्ष ।

पी ले झरा सा
नैनों में भर कर
जीवन रस ।

मन हर्षित 
कुदरती ऐश्वर्य
दृश्य सरस ।

गहराइयाँ
प्रीत की ऊँचाइयाँ
छू लो तो जरा ।

मन मंदिर
तुमको ही बसाया
चाहो तो जरा ।

अक्स रूह का
स्वरूप सादगी का
चूमो तो जरा ।

मधुर स्वर
सृष्टि के कण कण
झूमो तो जरा ।

स्नेह सरीत
प्रतिबिम्बित प्रीत
भिगो तो जरा ।

□  अल्पा जीतेश तन्ना

(गुजरात)


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